भूमिका
“बाइबल सार” नामक इस पुस्तक की सम्पूर्ण विषय-वस्तुएँ पवित्रशास्त्र ‘बाइबल’ से ली गई हैं; अर्थात् यह अपने आप संक्षिप्त रूप में बाइबल ही है। इसे उन लोगों की आवश्यकता को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है जो बाइबल से अनजान हैं और इस में बाइबल के मुख्य सन्देश को उनके लिए सरल भाषा में प्रस्तुत किया गया है जो मसीही विश्वास की मुख्य बातों को अच्छी तरह जानने की इच्छा रखते हैं। बाइबल की विषय वस्तु यीशु पर तथा परमेश्वर के आने वाले साम्राज्य के रहस्य पर केन्द्रित है। इसी यीशु को मसीही लोग अभिषिक्त मसीह मानते हैं जिसके विषय में प्राचीन काल से ही भविष्यवाणियाँ की गई थीं। बाइबल के सन्देश को अच्छी तरह समझने के लिए, जैसा कि यीशु ने कहा, इसे एक बच्चे के समान विनम्र भाव से पढ़ना आवश्यक है। यदि कोई परमेश्वर के वचन को इस रूप में पढ़ेगा कि मानो वह छिपे हुए खज़ाने की खोज कर रहा हो, तो निश्चित है कि वह बाइबल के इस वचन को अपने जीवन में सत्य सिद्ध होता हुआ देखेगा कि—“तुम्हारे लिए आवश्यक नहीं कि कोई तुम्हें सिखाए।” जब आप इस पुस्तक को पढ़ चुके होंगे, तो हम चाहेंगे कि आप बाइबल की एक प्रति अवश्य मंगवा लें और उसे पढ़ें। “सम्पूर्ण पवित्रशास्त्र परमेश्वर की प्रेरणा से लिखा गया है और शिक्षा देने में, समझाने में, सुधारने में और धार्मिकता के लिए अनुशासित करने में लाभदायक है।” 2 तीमु 3:16